इंडिया इंटरनेशनल सेंटर में प्रो० डॉ० दिव्या तंवर की तीन पुस्तकों का हुआ विमोचन

 नई दिल्ली। साहित्य एवं समाज सेवा के क्षेत्र में विशेष पहचान रखने वाली प्रो९ डॉ०  दिव्या तंवर के जन्म दिवस के अवसर पर दिव्या फ़ाउंडेशन द्वारा इंडिया इंटरनेशनल सेंटर की एनेक्सी बिल्डिंग के लेक्चर हॉल में प्रो०  डॉ० दिव्या तंवर द्वारा लिखित तीन पुस्तकों का विमोचन समाज के विद्वान व जिम्मेदार लोगों द्वारा किया गया। तथा तीन अलग-अलग सत्र में पुस्तकों पर चर्चा भी की गई। पहले सत्र में साईबर सिक्योरिटी से सम्बंधित पुस्तक ‘साईबर सिक्यूरिटी इफैक्ट एण्ड इशूज़ इन ऑवर लाईफ’’ को अशोक मेहता एवं गिरीश देसाई के कर कमलों द्वारा रिलीज किया गया।

दूसरे सत्र में नारी सशक्तिकरण से सम्बंधित पुस्तक ‘‘ब्रेकिंग बोरियर्स इन 24 वीं संचूरी” का विमोचन मुख्य अतिथि मुकेश गुप्ता व विशिष्ठ अतिथि नरेंद्र मोदी अध्यन केंद्र के फ़ाउंडर चेयरमेन प्रोफ़ेसर जसिम मौहम्मद व विनय अलानिया द्वारा किया गया तथा तीसरे सत्र में युवाओं से सम्बंधित पुस्तक ‘‘मेंटल हैल्थ’ को मुख्य अतिथि कुणाल कश्यप, विशिष्ठ अतिथि अनिल सिंह व एडवोकेट सुप्रीम कोर्ट डॉ० राम अवतार शर्मा के हाथों रिलीज किया गया। 

इस अवसर पर साहित्य की दुनिया में सराहनीय योगदान व विभिन्न क्षेत्रों में सामाजिक सेवाओं के लिए प्रोफेसर डॉ० दिव्या तंवर को फेस ग्रुप के चेयरमैन डॉ० मुश्ताक अंसारी व जर्नालिस्ट एवं समाज सेविका उज़मा अंसारी ने विशेष उपहार भेंट कर सम्मानित किया तथा जन्म दिवस की बधाई भी पेश की। 

इस मौके पर डॉ० दिव्या तंवर ने कहा कि मेरी तीनों पुस्तकें सामाजिक मुद्दों पर आधारित हैं। उन्होंने कहा कि साईबर सिक्यूरिटी की अगर बात करें तो कोरोना के बाद मानव जीवन पर मशीनरी का अधिक प्रभाव देखने को मिला है। सोशल व इलैक्ट्रॉनिक मीडिया के अधिक इस्तेमाल से हमारा जीवन बेहद  प्रभावित हो रहा है। डॉ० दिव्या ने बताया कि ब्र्रेकिंग बोरियर्स में नारी शक्तिकरण के कई पहलुओं को पुस्तक में स्थान दिया है। नारी के चूंकि कई रूप हैं तो वह अपने रिश्तों को निभाते हुए किस तरह प्रगति की ओर अग्रसर हो सकती है यही सब कुछ इस पुस्तक के माध्यम से समझाने की कोशिश की है। उन्होंने कहा कि पुस्तक मेंटल हैल्थ में मैंने खास तौर से युवा वर्ग को समझाने की कोशिश की है कि मशीनरी का इस्तेमाल कम करना चाहिए क्योंकि सोशल मीडिया का अधिक इस्तेमाल करने से ना सिर्फ हम सामाजिक दूरिया पैदा कर रहे हैं बल्कि रिश्तों से प्रेम भी लुप्त होता जा रहा है। लोग शारीरिक व मानसिक रूप से बीमार भी हो रहे हैं। ऐसी स्थिति में चाहिए कि हम मोटिवेशनल लोगों से ताल्लुक को मजबूत करें।

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