थड्यूरोफ्लेक्स ने लॉन्च किया नया ‘मैट्रेस एक्सचेंज’ प्रोग्राम
ड्यूरोफ्लेक्स की इस डिजिटल फिल्म में ब्राण्ड ने उस पल को दिखाया है, जब एक व्यक्ति अपने पुराने, फटे और दाग-धब्बों वाले मैट्रेस को नीलामी में बेचने की कोशिश करता है। जब वह अपना फोम मैट्रेस दिखाता है, तो वहां मौजूद लोगों से पूछता है कि क्या उन्हें मैट्रेस पसंद है और सभी हंसने लगते हैं। फिल्म के अंत में वह सपने से जागता है और बताया जाता है कि पुराने मैट्रेस को सपने में बेचना भी कितना मुश्किल है। फिर इसमें दिखाया जाता है कि ड्यूरोफ्लेक्स के ‘मैट्रेस एक्सचेंज’ प्रोग्राम में एनरोल करके इस समस्या को हल करने में मदद मिल सकती है। यानी, इस प्रोग्राम की मदद से लोग अपने पुराने मैट्रेस एक्सचेंज करा सकते हैं और रियायती दामों पर नया मैट्रेस खरीद सकते हैं। यह ऑफर 28 अप्रैल से शुरू हो गया है, जो 31 मई तक चलेगा।
इस संबंध में ड्यूरोफ्लेक्स के सीईओ मोहनराज जे. कहते हैं, 'ड्यूरोफ्लेक्स में हमारा मुख्य मिशन बेहतर और सेहतमंद नींद लेने में भारत के लोगों की मदद करना है। पुराने मैट्रेस से नींद बाधित हो सकती है। पुराने मैट्रेस की जिन्दगी खत्म होने के बाद भी इस पर सोने से कमर के स्थायी दर्द से लेकर त्वचा में एलर्जी तक जैसी समस्याएं हो सकती हैं। भारत के स्लीप एक्सपर्ट के तौर पर ड्यूरोफ्लेक्स मैट्रेस एक्सचेंज प्रोग्राम के साथ हम पुराने मैट्रेस से छुटकारा पाने और अपनी जरूरतों के अनुसार तथा रात में अच्छी नींद देने वाले मैट्रेस घर लाने में ग्राहकों की मदद करना चाहते हैं।'
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